tag:blogger.com,1999:blog-1750404937191332592.post1740204165492620034..comments2024-02-11T08:46:41.916+05:30Comments on क्रांति स्वर: रावण वध एक पूर्व निर्धारित योजना (पुनर्प्रकाशन- अंतिम किश्त )vijai Rajbali Mathurhttp://www.blogger.com/profile/01335627132462519429noreply@blogger.comBlogger7125tag:blogger.com,1999:blog-1750404937191332592.post-72120939192401988972011-02-07T16:44:33.358+05:302011-02-07T16:44:33.358+05:30आद. विजय जी,
मैंने इस लेख के पहले दो भाग भी पढ़े ह...आद. विजय जी,<br />मैंने इस लेख के पहले दो भाग भी पढ़े हैं ! जिस वैज्ञानिक दृष्टिकोण के साथ आप कथा की विवेचना करते हैं उससे हर शंका का समाधान होता जाता है <br />और इससे यह बात भी सिद्ध होती है कि भारत ने दुनियाँ को विज्ञान दिया ! भारत को विश्व गुरु का दर्ज़ा यूँ ही तो नहीं मिला था !ज्ञानचंद मर्मज्ञhttps://www.blogger.com/profile/06670114041530155187noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1750404937191332592.post-38082351302543131752011-02-05T12:59:46.177+05:302011-02-05T12:59:46.177+05:30महेंद्र जी,
धन्यवाद आपके सुझाव के लिए निश्चय ही मै...महेंद्र जी,<br />धन्यवाद आपके सुझाव के लिए निश्चय ही मैं उस पर अमल करूँगा.vijai Rajbali Mathurhttps://www.blogger.com/profile/01335627132462519429noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1750404937191332592.post-4606138213615093702011-02-05T10:45:51.337+05:302011-02-05T10:45:51.337+05:30वैज्ञानिक दृष्टिकोण रखते हुए रावण वध की व्याख्या प...वैज्ञानिक दृष्टिकोण रखते हुए रावण वध की व्याख्या प्रशंसनीय है।<br />आपसे आग्रह है कि अन्य पौराणिक कथाओं की भी इसी तरह व्याख्या प्रस्तुत करें।महेन्द्र वर्माhttps://www.blogger.com/profile/03223817246093814433noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1750404937191332592.post-82279332333453449022011-02-04T18:14:43.381+05:302011-02-04T18:14:43.381+05:30आपका विवेचन पढकर अभिभूत हूं।
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ध्यान का ...आपका विवेचन पढकर अभिभूत हूं।<br /><br />---------<br /><a href="http://sb.samwaad.com/" rel="nofollow">ध्यान का विज्ञान।</a><br /><a href="http://ts.samwaad.com/" rel="nofollow">मधुबाला के सौन्दर्य को निरखने का अवसर।</a>Dr. Zakir Ali Rajnishhttps://www.blogger.com/profile/03629318327237916782noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1750404937191332592.post-28288508528631249072011-02-03T18:14:35.836+05:302011-02-03T18:14:35.836+05:30bilkul naye dhang se vyakhya ki hai aapne
wah bhi...bilkul naye dhang se vyakhya ki hai aapne <br />wah bhi tarkon aur pramano ke saath...<br /> prashasniy..सुरेन्द्र सिंह " झंझट "https://www.blogger.com/profile/04294556208251978105noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1750404937191332592.post-28847610848085089452011-02-02T20:49:08.312+05:302011-02-02T20:49:08.312+05:30गुरुदेव! आप यह न सोचें कि कौन क्या सोचता है.. दुनि...गुरुदेव! आप यह न सोचें कि कौन क्या सोचता है.. दुनिया में सिर्फ संकुचित सोच वाले लोग ही नहीं, वृहत् विचार वाले लोग भी हैं.. आपकी व्याख्या सर्वथा अकाट्य है!! आभार!!चला बिहारी ब्लॉगर बननेhttps://www.blogger.com/profile/05849469885059634620noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1750404937191332592.post-48264686390836783142011-02-02T20:12:49.981+05:302011-02-02T20:12:49.981+05:30आपने अच्छा लिखा है,
नजर नजर का फेर है, जिस नजर से...आपने अच्छा लिखा है,<br /><br />नजर नजर का फेर है, जिस नजर से किसी घटना को देखेंगे वो वैसी ही दिखाई देगीLearn By Watchhttps://www.blogger.com/profile/06971233278329456015noreply@blogger.com